Source: Safalta
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लोगों की राय प्राप्त करने का प्रयास -
इस सम्मेलन का मुख्य उद्देश्य सरकार द्वारा चलाए जा रहे विभिन्न कल्याणकारी कार्यक्रमों के बारे में लोगों की राय प्राप्त करने का प्रयास करना है. इसके तहत देश भर में जनता को निर्वाचित जनप्रतिनिधियों जैसे कि प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री, राज्य मंत्री, केन्द्रीय मंत्री, संसद के सदस्य, विधान सभा के सदस्य इत्यादि के साथ सीधे बातचीत करने का अवसर प्रदान किया जाएगा. ये जन प्रतिनिधि अपने अपने स्थान पर बैठ कर जनता से सीधे संवाद करेंगे. सम्मलेन के दौरान प्रधानमंत्री भारत सरकार के 9 मंत्रालयों के विभिन्न कार्यक्रमों के लाभार्थियों से सीधे संवाद करेंगे. इस सम्मलेन के दौरान प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के तहत वित्तीय लाभ की 11 वीं क़िस्त भी जारी की गयी. इस योजना के तहत किसानों को सालाना 6 हज़ार रूपए की सम्मान राशि प्रदान की जाएगी.राष्ट्रीय महत्व का कार्यक्रम -
हिमाचल प्रदेश के मुख्य मंत्री श्री जयराम ठाकुर ने कहा कि पीएम मोदी का ये कार्यक्रम राष्ट्रीय महत्व का कार्यक्रम है. पीएम मोदी का 8 साल का ये कार्यकाल सबसे यशस्वी कार्यकाल है. इस कार्य काल के दौरान बदलाव का सुखद दौर उन गाँवों तक भी पहुँचा जो ना जाने कितने हीं सालों से उपेक्षा के अन्धकार में डूबे पड़े थे. पीएम मोदी के नेतृत्व ने इन 8 सालों में भारत को ना केवल एक नई पहचान दिलवाई है बल्कि हमारे देश को अतंराष्ट्रीय स्तर पर एक नई और अनूठी पहचान भी मिली है.
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क्या है प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना -
प्रधान मंत्री गरीब कल्याण योजना (पीएमजीकेवाई) वर्ष 2016 में प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा कराधान कानून (द्वितीय संशोधन) अधिनियम, 2016 के अन्य प्रावधानों के साथ शुरू की गई योजनाओं में से एक है. यह योजना वित्त मंत्रालय के तहत 17 दिसंबर वर्ष 2016 से लागू की गयी थी. भारत में कोविड-19 के प्रकोप के कारण, वित्त मंत्री ने 26 मार्च 2020 को कोरोना वायरस लॉकडाउन के कारण गरीबों को हुए नुकसान को कम करने के लिए 1.7 लाख करोड़ के गरीब कल्याण पैकेज की घोषणा की थी. पहले यह योजना 16 दिसंबर 2016 से 31 मार्च 2017 तक वैध थी फिर बाद में इसे जून 2020 तक बढ़ा दिया गया था.
पीएम गरीब कल्याण पैकेज द्वारा प्रदान किए गए लाभ –
- कोविड-19 से लड़ने वाले प्रत्येक स्वास्थ्य कर्मी को बीमा योजना के तहत 50 लाख रुपये का बीमा कवर प्रदान किया गया.
- 80 करोड़ गरीबों को अगले तीन महीने तक हर माह 5 किलो गेहूं या चावल और पसंद की 1 किलो दाल का मुफ्त वितरण किया गया.
- 20 करोड़ महिला जन धन खाता धारकों के अकाउंट में अगले तीन महीने तक हर माह 500 रुपये डाले गए.
- मनरेगा के तहत 182 रूपए मजदूरी को बढ़ाकर 202 रुपये प्रति दिन कर दिया गया. इससे 13.62 करोड़ परिवारों को लाभ मिलेगा.
- 3 करोड़ वरिष्ठ नागरिकों, गरीब विधवाओं और दिव्यांगजनों को 1,000/-रूपए की अनुग्रह राशि दी गयी.
- पीएम किसान योजना के तहत अप्रैल के पहले सप्ताह में किसानों के खाते में 2,000/-रूपए डाले गए. इससे 8.7 करोड़ किसान लाभान्वित हुए.
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प्रधानमंत्री गरीब कल्याण पैकेज में निम्नलिखित योजना शामिल हैं -
1. प्रधानमंत्री गरीब कल्याण पैकेज–
2. प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना–
3. मनरेगा मजदूरी में 20 रुपये की बढ़ोतरी
4. वरिष्ठ नागरिकों (60 वर्ष से अधिक), विधवाओं और दिव्यांगजनों के लिए सहायता
5. भवन और अन्य निर्माण श्रमिक कल्याण कोष
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पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना पैकेज के तहत अन्य उपाय
संगठित क्षेत्र -
- कर्मचारी भविष्य निधि नियमनों में संशोधन कर ‘महामारी’ को भी उन कारणों में शामिल किया जाएगा जिसे ध्यान में रखते हुए कर्मचारियों को अपने खातों से कुल राशि के 75 प्रतिशत का गैर-वापसी योग्य अग्रिम या तीन माह का पारिश्रमिक, इनमें से जो भी कम हो, प्राप्त करने की अनुमति दी जाएगी.
- ईपीएफ के तहत पंजीकृत चार करोड़ कामगारों का परिवार इस सुविधा का लाभ उठा सकते हैं.
- इस कोष में लगभग 3.5 करोड़ पंजीकृत श्रमिक हैं.
- ‘भवन और अन्य निर्माण श्रमिकों के लिए कल्याण कोष’ केंद्र सरकार के एक अधिनियम के तहत बनाया गया.
- राज्य सरकारों को इस कोष का उपयोग करने के लिए निर्देश दिए जाएंगे ताकि इन श्रमिकों को आर्थिक मुश्किलों से बचाने के लिए आवश्यक सहायता और सहयोग मिल सके.
जिला खनिज कोष -
राज्य सरकार से जिला खनिज कोष (डीएमएफ) के तहत उपलब्ध धनराशि का उपयोग करने को कहा जाएगा, ताकि कोविड-19 महामारी को फैलने से रोकने के लिए चिकित्सा परीक्षण (टेस्टिंग), स्क्रीनिंग और अन्य आवश्यकताओं की पूरक एवं संवर्धित या बढ़ी हुई सुविधाओं का इंतजाम किया जा सके और इसके साथ ही इस महामारी की चपेट में आए मरीजों का समुचित इलाज भी हो सके.