- शास्त्रीय नृत्य और
- लोक नृत्य
शास्त्रीय नृत्य और लोकनृत्य के बीच अंतर -
हालाँकि इन दोनों हीं नृत्य रूपों की उत्पत्ति भारतीय स्थानीय परंपरानुसार भारत के विभिन्न हिस्सों में हुई है. लेकिन इन दोनों नृत्यों के रूपों में काफी अंतर है. शास्त्रीय नृत्य और लोकनृत्य के बीच में प्रमुख अंतर यह है कि- शास्त्रीय नृत्य का सम्बन्ध नाट्य शस्त्र (भरत मुनि द्वारा रचित) से है. नाट्य शस्त्र में प्रत्येक शास्त्रीय नृत्य से सम्बंधित विशेषताओं का वर्णन किया गया है.
- लोकनृत्य सम्बंधित राज्य या भौगोलिक क्षेत्र की स्थानीय परम्पराओं के परिणामस्वरूप अस्तित्व में आये.
- भारत के लोक नृत्य अपनी उत्पत्ति के क्षेत्र में बसे समुदायों की संस्कृति और परंपरा का प्रतिनिधित्व करते हैं. लोक नृत्य आमतौर पर संबंधित समुदाय के उत्सव- बच्चे के जन्म, त्योहारों, शादियों, फसल रोपनी या कटाई, ऋतुओं के बदलने आदि के अवसर पर किए जाते हैं. जैसे वर्षा ऋतु में कजरी, होली के त्यौहार पर फाग या फगुआ तो बच्चे के जन्म पर सोहर नृत्य.
- लोक नृत्य आम जनता द्वारा किये जाते हैं. लोक नृत्य के लिए उन्हें किसी औपचारिक प्रशिक्षण की आवश्यकता नहीं होती. ये नृत्य सहज और भावना से उत्पन्न होते हैं. लोकनृत्यों में निहित यह सादगी हीं इस कला को एक अंतर्निहित सुंदरता प्रदान करती है. हालाँकि ये नृत्य एक निश्चित संप्रदाय या किसी विशेष इलाके तक हीं सीमित रह जाते हैं. लोक नृत्य को पीढ़ी दर पीढ़ी अपने विशेष संप्रदाय के बीच हीं आगे बढ़ाया जाता है.
- भारत के हर राज्य में विभिन्न प्रकार के लोक नृत्य प्रचलित हैं.
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भारत के लोक नृत्यों की सूची:
राज्य | लोक नृत्य |
आंध्रप्रदेश | भामकल्पम, कोलट्टम, विलासिनी नाट्यम, वीरनाट्यम, दप्पू, टप्पेता गुल्लू, लम्बाडी, धीम्सा आदि. |
अरुणाचल प्रदेश | वान्चो, मुखौटा नृत्य, बुइया, चलो, पासी कोंगकी, पोनुंग, पोपिरो आदि. |
असम | बिहू, नागा नृत्य, बिछुआ, नटपूजा, महारस, कलिगोपाल, बगुरुम्बा, खेल गोपाल आदि. |
बिहार | जट-जटिन, सामा-चकेवा, पंवरिया आदि. |
छत्तीसगढ़ | गौर माड़िया, कापालिक, पंथी, राउत नाचा, पंडवानी, वेदमती आदि. |
गुजरात | गरबा, डांडिया रास, भवाई, टिप्पनी जुरियुन आदि. |
गोवा | तरंगमेल, कोली, देखनी, फुगड़ी, शिग्मो, घोडे, मोदनी, समयी नृत्य, जागर, रणमाले आदि. |
हरियाणा | झूमर, फाग, दाफ, धमाल, लूर, गुग्गा, खोर आदि. |
हिमाचल प्रदेश | झोरा, धामन, झाली, छरही, छपेली, महासू आदि. |
जम्मू कश्मीर | कूद दंडी नाच, रउफ, हिकत, मंदजस आदि. |
झारखण्ड | झूमर, सोहराय, सरहुल, कर्मा, अलकप, अग्नि, जनानी झुमर, मर्दाना झुमर, पाइका, फगुआ आदि. |
कर्नाटक | यक्षगान, करगा, हुत्तरी, सुग्गी, कुनिथा आदि. |
केरल | ओट्टम थुल्लल, कैकोट्टिकली आदि. |
महाराष्ट्र | लावणी, कोली, नकाटा, लेज़िम, गफ़ा, दहिकला दशावतार आदि. |
मध्य प्रदेश | जवारा, मटकी, आड़ा, खड़ा नच, फूलपति, ग्रिडा नृत्य, सेलालार्की, सेलभदोनी आदि. |
मणिपुर | डोल चोलम, थांग ता, लाई हराओबा, पुंग चोलोम आदि. |
मेघालय | का शाद सुक मिनसिएम, नोंगक्रेम, लाहौ आदि. |
मिज़ोरम | चेराव नृत्य, खुल्लम, छैलम, सावलाकिन, चावंगलाइज़न, ज़ंगटालम आदि. |
नागालैंड | रंगमा, ज़ेलिआंग, नसुइरोलियन, गेथिंगलिम |
ओड़िशा | सावरी, घूमर, पेनका, मुनारी आदि. |
पंजाब | भंगड़ा, गिद्दा, डफ, धमन आदि. |
राजस्थान | घूमर, कलबेलिया, गणगौर, चकरी, झूलन लीला, झूमा, सुइसिनी, घपल आदि. |
सिक्किम | चू फाट, सिकमारी, सिंघी चाम या स्नो लायन, याक चाम, डेन्जोंग गेन्हा, ताशी यांगकू आदि. |
तमिलनाडु | कुमि, कवडी, कोलट्टम आदि. |
त्रिपुरा | होजागीरी आदि. |
उत्तर प्रदेश | नौटंकी, रासलीला, कजरी, झोरा, छपेली आदि. |
उत्तराखंड | गढ़वाली, कुमायुनी, कजरी, झोरा, रासलीला आदि. |
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